श्रीकृष्ण के सात अक्षरी, आठ अक्षरी और बारह अक्षरी मंत्र बोलने और जप करने से कठिन से कठिन कार्य पूर्ण होते हैं। भगवान श्रीकृष्ण श्री विष्णु के आठवें अवतार हैं। इस दिन भगवान स्वयं पृथ्वी पर अवतरित हुए थे इसलिए कृष्ण जन्माष्टमी अथवा जन्माष्टमी के रूप में मनाते हैं। इस दिन स्त्री-पुरुष रात्रि बारह बजे तक व्रत रखते हैं। इस दिन मंदिरों में झांकियां सजाई जाती हैं और भगवान कृष्ण को झूला में झुलाया जाता है।
सभी लोग इस दिन अलग-अलग तरीके से पूजा-पाठ करते हैं। लेकिन इस दिन इन मंत्रों का जाप बहुत शुभ और कल्याणकारी माना जाता है। सात अक्षरी, आठ अक्षरी और बारह अक्षरी मंत्र बोलने और जप करने में बड़े सरल और मंगलकारी हैं। मंत्र इस प्रकार हैं…
ॐ क्रीं कृष्णाय नमः
‘गोकुल नाथाय नम:
ॐ नमो भगवते श्री गोविन्दाय’
‘गोवल्लभाय स्वाहा’
जिन लोगों का चंद्रमा कमजोर हो वे इस दिन विशेष पूजा से लाभ पा सकते हैं
Post Credit : Pundit Pradeep Upmanyu Ji
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